करंट टॉपिक्स

दिल्ली उच्च न्यायालय का आदेश, लक्ष्मी पुरी के खिलाफ सारे ट्वीट तुरंत हटाएं

Spread the love

 

नई दिल्ली. दिल्ली उच्च न्यायालय ने साकेत गोखले को संयुक्त राष्ट्र की पूर्व सहायक महासचिव लक्ष्मी पुरी के खिलाफ सभी ट्वीट हटाने का निर्देश दिया है. साथ ही न्यायालय ने गोखले के खिलाफ सिविल अवमानना का मामला चलाने की स्वीकृति दी.

दिल्ली उच्च न्यायालय ने साकेत गोखले को आदेश दिया कि, “संयुक्त राष्ट्र की पूर्व सहायक लक्ष्मी पुरी के खिलाफ किये गए सारे ट्वीट डिलीट करें.” अगर वे ट्वीट डिलीट नहीं करते तो ट्विटर ट्वीट्स को हटाए. साथ ही न्यायालय ने कहा कि गोखने लक्ष्मी पुरी के खिलाफ किसी भी प्रकार के आधारहीन और बेबुनियाद ट्वीट न करें.

लक्ष्मी पुरी ने साकेत गोखले के खिलाफ अवमानना की कार्रवाई शुरू करने का मामला दाखिल किया था. साकेत गोखले ने केंद्रीय मंत्री हरदीप पुरी की पत्नी लक्ष्मी पुरी के खिलाफ उनकी संपत्ति को लेकर ट्वीट किया था. दिल्ली उच्च न्यायालय ने अपने आदेश में कहा कि साकेत गोखले लक्ष्मी पुरी के खिलाफ किए गए ट्वीट तुरंत डिलीट करें.

केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी की पत्नी लक्ष्मी पुरी ने अवमानना की याचिका दाखिल की है, जिसमें गोखले के ट्वीट को डिलीट करने और 5 करोड़ के मुआवजे की मांग की गई है. गोखले ने 13 और 26 जून को अपने ट्वीट में स्विट्जरलैंड में पुरी द्वारा कथित तौर पर संपत्ति खरीदने का हवाला दिया था और उनके पति एवं केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी का भी संदर्भ दिया था.

पिछली सुनवाई के दौरान अदालत ने टिप्पणी की थी कि सम्मान के अधिकार को मौलिक अधिकार के तौर पर स्वीकार किया गया है और गोखले से पूछा कि वह कैसे किसी व्यक्ति को बदनाम कर सकते हैं, खासतौर पर ट्वीट करके जो प्रथम दृष्टया असत्य हैं.

8 जुलाई को सुनवाई के दौरान जस्टिस सी. हरिशंकर ने गोखले के अधिवक्ता सरीम नावेद से पूछा, ‘मुझे स्पष्ट करें कि ट्वीट करने से पहले उसकी सत्यता जांचने के लिए वादी से संपर्क किया गया था.’ इसका जवाब अधिवक्ता ने नहीं में दिया.

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *