शिमला. राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ हिमाचल प्रांत संघचालक डॉ. वीरसिंह रांगड़ा ने विश्व संवाद केंद्र शिमला में आयोजित पत्रकार वार्ता में कहा कि पूर्व की भांति कोरोना काल में भी संघ का कार्य 70 प्रतिशत विस्तार के साथ देशभर में बढ़ा. राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की वार्षिक अखिल भारतीय प्रतिनिधि सभा की बैठक 19-20 मार्च को बंगलूरू में संपन्न हुई. जिसमें 350 प्रतिनिधियों ने प्रत्यक्ष रूप से तथा 900 प्रतिनिधियों ने आभासी माध्यमों से भाग लिया. हिमाचल प्रदेश से बैठक में प्रतिवर्ष 21 प्रतिनिधि शामिल होते हैं, लेकिन इस बार कोरोना के कारण 5 प्रतिनिधि ही शामिल हुए.
उन्होंने कहा कि कोरोना के कारण मार्च से जून 2020 तक संघ का कार्य पूर्ण बंद था, शाखाएं बंद थीं. तब भी संघ के स्वयंसेवक सक्रिय थे. यह संघ का चुनावी वर्ष भी था, ऐसे में कोरोना संकट के कारण प्रतिवर्ष नागपुर में होने वाली अखिल भारतीय प्रतिनिधि सभा की बैठक बेंगलूरू में आयोजित की गई.
देशभर की संस्तुतियों के आधार पर अखिल भारतीय कार्यकारिणी के दायित्वों में परिवर्तन हुआ. सम्पूर्ण देशभर से आए प्रतिनिधियों ने दत्तात्रेय होसबाले जी को नया सरकार्यवाह चुना. सरकार्यवाह ने अपनी नवीन कार्यकारिणी की घोषणा की, जिसमें डॉ. कृष्ण गोपाल, डॉ. मनमोहन वैद्य, मुकुंद सी.आर, अरूण कुमार और रामदत चक्रधर को सह सरकार्यवाह बनाया गया.
अखिल भारतीय प्रतिनिधि सभा की बैठक में श्रीराम मंदिर निर्माण और कोरोना काल में सम्पूर्ण देश की एकजुटता को लेकर प्रस्ताव पारित किये गए.
देशभर में संघ के कार्य स्थिति के संबंध में वीर सिंह रांगड़ा ने कहा कि पिछले वर्ष मार्च की तुलना में 89 प्रतिशत शाखाएं पुनः प्रारंभ हो गई हैं. कोरोना काल में संघ के स्वयंसेवकों ने देशभर में सेवा भारती के माध्यम से 92,656 स्थानों पर सेवा कार्य किए. स्वयंसेवकों ने 73,81,402 राशन किट वितरित किए, करोड़ 66 लाख 34 हजार 730 भोजन पैकेट वितरित किये. 90 लाख मास्क वितरण के साथ ही स्वयंसेवकों ने 1 लाख अस्थाई आवासों की व्यवस्था की. कोरोना काल में देशभर में रक्तदान शिविरों में 60,229 यूनिट रक्तदान भी स्वयंसेवकों ने किया.
उन्होंने हिमाचल में संघ कार्य की स्थिति पर कहा कि हिमाचल में 5848 स्थानों पर 730 शाखाएं चल रही है, जबकि 359 संघ मंडली व 192 साप्ताहिक मिलन चल रहे हैं.