भोपाल (विसंकें). जागृत समाज समस्याओं का समाधान स्वयं ढूंढ निकालता है. जल संरक्षण, भू-जल सुधार को लेकर मध्यप्रदेश के एक गांव के ग्रामीणों ने अनुपम पहल की है. बैतूल जिले के कान्हावाडी गांव के ग्रामीणों ने भू-जल स्तर में सुधार के लिए योजना तैयार की है.
योजना के अनुसार घोड़ा-डोंगरी ब्लॉक के सांसद आदर्श ग्राम में पानी की एक बूंद भी व्यर्थ नहीं बहेगी. हर घर में बनाए जा रहे सोकपिट वाले रेन वाटर हार्वेस्टिंग सिस्टम से बारिश का पानी सीधे धरती में पहुंचेगा. इसके साथ ही गांव के सभी 10 हैंडपंपों पर सोकपिट बनाए जा रहे हैं, इसके अलावा गायों को 24 घंटे पानी उपलब्ध कराने के लिए टैंक भी हैंडपंप के समीप बनाए जा रहे हैं. कान्हावाडी जल्द ही जल संरक्षण के मामले में मिसाल बने, इसे लेकर ग्रामीणों ने प्रयास शरू किए हैं, इसी के तहत चाहे बारिश हो या फिर हैंडपंप का अतिरिक्त पानी, उसके संरक्षण की योजना पर कार्य चल रहा है.
गांव में हैंडपंपों पर ऐसी व्यवस्था की गई है कि ना तो आसपास कीचड़ होता है और ना ही पानी व्यर्थ बह रहा है. पर्यावरणविद मोहन नागर के मार्गदर्शन में जल संरक्षण संबंधी कार्य चल रहे हैं.
नागर ने बताया कि हैंडपंप के पास 8 फीट गहरा और इतना ही चौड़ा गड्ढा खोदकर उसमें बोल्डर और बजरी डाली गई है. इसे हैंडपंप के प्लेटफार्म के पाइप से जोड़ा गया है. हैंडपंप पर उपयोग के बाद बचा हुआ पानी पाइप से सोकपिट में पहुंचेगा और साफ होकर जमीन के भीतर पहुंचेगा. इससे ना तो आसपास कीचड़ होगा और ना ही व्यर्थ पानी बहेगा.
अभी मॉडल के रूप में एक हैंडपंप पर कार्य किया गया है. जल्द ही गांव के सभी 10 हैंडपंपों पर ऐसी व्यवस्था करेंगे. इसके अलावा गांव के सभी डेढ़ सौ घरों में बारिश का पानी जमीन में पहुंचाने के लिए सोकपिट वाले रेन वाटर हार्वेस्टिंग सिस्टम भी बनाए जाएंगे.