देहरादून (विसंकें). शीतकाल के छह महीने ऊखीमठ स्थित पंच केदार ओंकारेश्वर मंदिर में विश्राम करने के बाद बाबा की उत्सव डोली वीरवार को केदारनाथ के लिए रवाना हुई. इसी के साथ केदारनाथ धाम के कपाट खुलने की प्रक्रिया विधिवत रूप से आरंभ हो गई. धाम के कपाट नौ मई को सुबह छह बजे भक्तों के लिए खोले जाएंगे.
निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार वीरवार सुबह पांच बजे से ओंकारेश्वर मंदिर में विशेष पूजा शुरू हुई. आठ बजे उत्सव डोली को गर्भगृह से निकालकर सभा मंडप में लाया गया और लगभग दस बजे डोली अपने पहले पड़ाव स्थल गुप्तकाशी के लिए रवाना हुई. इस मौके पर देश के विभिन्न हिस्सों से आए बाबा के पांच सौ से अधिक भक्तों के अलावा बड़ी तादाद में स्थानीय लोग भी मौजूद थे. देर शाम भगवान की उत्सव डोली गुप्तकाशी स्थित विश्वनाथ मंदिर पहुंची, जहां बड़ी संख्या में मौजूद भक्तों ने डोली की आगवानी की.
इस मौके पर केदारनाथ धाम के रावल भीमाशंकर लिंग, मुख्य पुजारी शिवशंकर लिंग, उप जिलाधिकारी उत्तम सिंह चौहान, मंदिर समिति के कार्याधिकारी अनिल शर्मा समेत बड़ी संख्या में लोग मौजूद रहे. गुप्तकाशी में रात्रि विश्राम के बाद भगवान की डोली आजे छह मई को फाटा, सात मई को गौरीकुंड और आठ मई को केदारनाथ पहुंचेगी. नौ मई को सुबह छह बजे विशेष पूजा के साथ केदारनाथ मंदिर के कपाट भक्तों के दर्शनार्थ खोल दिए जाएंगे.