मुंबई (विसंकें). राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की अखिल भारतीय कार्यकारिणी के सदस्य इंद्रेश कुमार जी ने कहा कि हिन्दू समाज में भेदभाव के कारण अंग्रेज 150 साल तथा मुगल सैकड़ों वर्षों तक हिन्दुस्थान पर शासन कर सके. भेदभाव के कारण बिखरे हिन्दू समाज को एकता के सूत्र में बांधना, राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ का यही उद्देश्य व लक्ष्य है. उन्होंने कहा कि भले ही 130 करोड़ लोगों की पूजा पद्धति, रहन-सहन अलग-अलग है, परंपराएं और भाषाएं पृथक हैं. फिर भी हमारा देश एक है. इस एकता को साथ लेकर भारत को पुनः विश्वगुरु बनाना हमारा कर्तव्य है.
इंद्रेश कुमार जी राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ कोंकण प्रांत द्वारा आयोजित हिन्दू चेतना संगम समारोह में उपस्थित लोगों को मुख्य वक्ता के रूप में संबोधित कर रहे थे. कोकण प्रांत के पालघर, ठाणे, मुंबई शहर तथा उपनगर, रायगड, रत्नागिरी एवं सिंधुदुर्ग जिलों सहित गोवा राज्य में 258 स्थनों पर हिन्दू चेतना संगम का आयोजन किया गया. इंद्रेश जी ने मुंबई में गोवंडी, शिवाजी नगर में लोगों को संबोधित किया.
उन्होंने कहा कि 90 साल पहले बोया संघ रूपी बीज आज वट वृक्ष बन गया है. हम एक ही भू-माता के सुपुत्र है. एक साथ प्यार से रहने और बंधुभाव से राष्ट्र का विकास होगा.
अन्य नगरों में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के वरिष्ठ कार्यकर्ताओं ने उपस्थित नागरिक जनों को संबोधित किया. पवई में अखिल भारतीय प्रतज्ञा प्रवाह के राष्ट्रीय संयोजक जे. नंदकुमार जी उपस्थित रहे. बदलापुर में कोंकण प्रान्त सह कार्यवाह विट्ठल काम्बले जी, ठाणे में कोंकण प्रान्त संपर्क प्रमुख प्रमोद बापट जी ने संबोधित किया.
गत 85 वर्षों से कोंकण प्रांत में संघ का कार्य अखंड रूप से चल रहा है. समाज की सज्ज्न शक्ति को एकत्र कर एक मंच पर लाने का प्रयास संघ कर रहा है. संघ का कार्य एवं विस्तार निःशंसय ही व्यापक है. लेकिन, संघ के कार्य का सुदृढ़ीकरण करना, और अभी तक अछूते रहे क्षेत्रों व वर्गों तक संघ कार्य को पहुंचाने का प्रयास किया जा रहा है. इसी हेतू से हिन्दू चेतना संगम का आयोजन किया गया. इन कार्यक्रमों में एक लाख से अधिक लोग सहभागी हुए. संघ की रचना अनुसार तालुका तथा नगर स्तर पर कार्यक्रमों का आयोजन किया गया. महाविद्यालयीन तथा व्यावसायी युवा वर्ग को संघ कार्य से परिचित करवाना, इस उद्देश्य अभियान का आयोजन किया गया.