फरीदाबाद (विसंकें). लघु उद्योग भारती उद्यमियों सहित सामान्य जनमानस को ठोस कचरा प्रबंधन के लिए जागरूक करेगी. संगठन ठोस कचरा प्रबंधन के लिए परियोजना स्थापित करने के वास्ते सार्वजनिक निजी भागीदारी (पीपीपी) को अपनाने की प्रदेश सरकार से सिफारिश भी करेगी. शनिवार को अभिनंदन होटल में संगठन के स्थापना दिवस के मौके पर आयोजित कार्यशाला में निर्णय लिया गया.
वरिष्ठ वैज्ञानिक डॉ सुल्तान सिंह ने कचरे से होते नुकसान और उसके समाधान में उद्यमियों की भूमिका विषय रखा. उन्होंने कहा कि फिलहाल शहरी क्षेत्र में 6०० टन ठोस कचरा रोजाना निकलता है. इनमें से केवल कुछ प्रतिशत का निपटान किया जाता है, शेष कचरा डंप मैदानों में ही रहता है. जिससे स्वास्थ्य समस्याएं तथा पर्यावरण पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ता है. जिससे स्थिति खतरनाक हो चुकी है. फरीदाबाद में अभी तक व्यक्ति आधारित कूड़ा इकठ्ठा किया जा रहा है. जो उचित नहीं है. घनी आबादी के शहर के लिए आधुनिक तकनीकी से कूड़ा उठाना चाहिए. तभी शहर स्वच्छ व सुंदर बन सकता है. शहर में अब सॉलिड वेस्ट आउटलेट की जरूरत महसूस होने लगी है. उन्होंने कहा कि उद्यमी भी कचरा प्रबंधन में उपयोगी भूमिका का निर्वाह कर सकते है.
राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के उत्तर क्षेत्र सहसंपर्क प्रमुख श्रीकृष्ण सिंहल ने कहा कि कचरा प्रबंधन हमारी मानसिकता से जुड़ा हुआ है. लोगों को विषय को अपने सामाजिक उत्तरदायित्वों के साथ जोड़कर खुद पहल करनी चाहिए. साफ-सफाई सिर्फ कर्मचारियों का काम नहीं है. बल्कि हमें खुद अपने घर समेत क्षेत्र की सफाई करनी चाहिए. शहर में बढ़ते प्रदुषण को देखते हुए सामाजिक उत्तरदायित्वों को निभाने का समय अब आ गया है. इसके लिए ना सिर्फ उच्च स्तरीय प्रशासनिक सहयोग जरूरी होगा, बल्कि निगम को लगातार निगरानी और जवाबदेही भी सुनिश्चित करनी होगी.
कार्यशाला में लघु उद्योग भारती के प्रदेश अध्यक्ष दीपक जैन ने संगठन के वर्तमान क्रियाकलापों से उद्यमियों को रूबरू करवाया. बड़खल विधायक सीमा त्रिखा ने कहा कि लोगों के जीवन को सुचारू बनाए रखने के लिए ठोस कचरे का प्रबंधन बहुत जरूरी है. कार्यशाला में उद्यमी व गणमान्यजन उपस्थित थे.