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पिछले वर्ष के मुकाबले देशभर में 3000 शाखाएं बढ़ीं – भय्याजी जोशी

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युवा शक्ति को आगे लाने के लिए प्रशिक्षण देगा संघ

लगभग 70 हजार गांवों में चल रहा संघ का काम

15 लाख स्वयंसेवकों को प्रशिक्षण देकर सामाजिक परिवर्तन के कार्य में सक्रिय करेगा संघ

बेंगलुरू. राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सरकार्यवाह भय्याजी जोशी ने बेंगलुरु में आयोजित प्रेस वार्ता में कहा कि अगले वर्ष के लिए हमारी कुछ योजना है. हमने पूरे देश में 18 से 25 वर्ष तथा 26 से 35 वर्ष की आयु वर्ग के लगभग एक लाख युवाओं को चिन्हित किया है. कार्य को तेज गति से आगे बढ़ाने के लिए हमने इन्हें सुदृढ़ करने तथा इनकी भूमिका सुनिश्चित करने का विचार किया है. युवा चुनौतियों का सामना करते हुए जिम्मेदारी संभाल सकते हैं, युवा पीढ़ी को आगे आना चाहिए, इस दृष्टि से उनके प्रशिक्षण के संबंध में विचार किया है. उन्होंने बताया कि संघ के इतिहास में पहली बार है, कि प्रतिनिधि सभा की बैठक को स्थगित करना पड़ा है. आज तक ऐसा नहीं हुआ था.

उन्होंने कहा कि संघ कार्य 95 वर्ष से चल रहा है. इस दौरान काफी लोग संघ प्रवाह से गुजरे हैं. इसे ध्यान में रखते हुए गत दो साल में 15 लाख स्वयंसेवकों का सर्वेक्षण (आयु, शिक्षण, कार्य, रुचि के अनुसार) किया है. इन सब लोगों का सोशल रिफॉर्म (सामाजिक परिवर्तन) में कैसे उपयोग हो सकता है, इसके लिए योजना बनाकर उनके प्रशिक्षण का विचार किया जा रहा है. आने वाले वर्षों में चरणबद्ध ढंग से योजना को पूरा करेंगे.

उन्होंने कहा कि देशभर में लगभग 39 हजार स्थानों पर प्रतिदिन 63 हजार शाखाएं लगती हैं, इसके अलावा 28 हजार स्थानों पर साप्ताहिक मिलन और मासिक मंडली चलती हैं. यानि लगभग 70 हजार स्थानों/गांवों में संघ का कार्य है. इसके अलावा 10 हजार स्थानों पर नियमित संघ का काम तो नहीं है, लेकिन हम कुछ बताते हैं तो वह करते हैं. तो इस प्रकार 80 हजार स्थानों पर हमारा काम है. पिछले वर्ष के मुकाबले शाखाओं में 3000 की बढ़ोत्तरी हुई है. इसी प्रकार देशभर में आयोजित संघ शिक्षा वर्गों (20 व 25 दिन के) में 15 हजार स्वयंसवकों ने प्रशिक्षण लिया.

भय्याजी जोशी ने बताया कि बैठक में तीन प्रस्ताव पारित किए गए हैं. पहला, रामजन्मभूमि के पक्ष में जो सुप्रीम कोर्ट का फैसला आया है, उसके लिए सरकार तथा न्यायालय का अभिनंदन करते हुए प्रस्ताव पारित किया गया है. आंदोलन में बलिदान देने वाले व संघर्ष करने वाले लोगों का स्मरण करते हुए प्रस्ताव पारित किया गया है. दूसरा, ऐतिहासिक निर्णय पार्लियामेंट ने आर्टिकल 370 के लिए लिया. संसद ने 370 को निरस्त किया है, इसलिए हमने सरकार का अभिनंदन करने के लिए प्रस्ताव पास किया है. तीसरा, सीएए में संशोधन करने की आवश्यकता थी, जिससे बांग्लादेश, पाकिस्तान, अफगानिस्तान से प्रताड़ित होकर भारत आए अल्पसंख्यकों को नागरिकता मिले. सरकार ने कानून पारित किया, इसके लिए भी हम सरकार का अभिनंदन करते हैं.

ग्राम विकास के लक्ष्य से हमने एक हजार गांवों को चिन्हित किया है. इनमें से 300 गांवों में अच्छी गति से कार्य चल रहा है. ग्राम विकास के लिए पांच बिन्दुओं शिक्षा, स्वास्थ्य, कृषि, सामाजिक समरसता और स्वावलंबन को आधार बनाकर काम करते हैं.

एक प्रश्न के उत्तर में उन्होंने कहा कि संघ औपचारिक और अनौपचारिक दोनों प्रकार के प्रशिक्षण वर्गों का आयोजन करता है. केवल औपचारिक प्रशिक्षण के माध्यम से प्रशिक्षण नहीं हो सकता.

भारत की परिवार व्यवस्था विश्व में अनोखी है. यह कॉंस्टीट्यूट नहीं है, नेचुरल है. हम मानते हैं कि बहुत से श्रेष्ठ गुण संस्कार, विचार बच्चों को माता-पिता से ही परिवार में प्राप्त होते हैं. इसलिए परिवार को सुदृढ़ बनाने के लिए जागरूकता लानी है, इसके लिए कुटुंब प्रबोधन का कार्य है.

सीएए पर पूछे प्रश्न के उत्तर में कहा कि दुर्भाग्य से यह राष्ट्रीय विषय राजनीतिक विषय बन गया. राजनीतिक कारणों के चलते कई नेता समाज में भ्रम पैदा करने का काम कर रहे हैं. प्रधानमंत्री, गृहमंत्री बार-बार लोगों से आग्रह कर रहे हैं कि कानून को समझें, लेकिन कुछ लोग समाज में भ्रम पैदा कर रहे हैं. वे लोगों को गुमराह कर रहे हैं. सभी राजनीतिक दलों को सरकार का समर्थन करना चाहिए, और यदि कोई संशय है तो उसे स्पष्ट करना चाहिए.

सीएए का समर्थन करने वाली शक्ति भी बहुत बड़ी है तथा कई संगठनों ने जागरूकता को लेकर अभियान चलाया है. हम उनके साथ हैं. सभी राजनीतिक दलों, व मीडिया को भी सकारात्मक अभियान का साथ देना चाहिए. केवल भाजपा नहीं, हम सभी राजनीतिक दलों से इसे समझने का आग्रह कर रहे हैं. भाजपा सत्ता में है तो उसे पहल करते हुए जागरूकता अभियान चलाना चाहिए.

https://youtu.be/tlFHqG_l544

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