नई दिल्ली. कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर के बीच कोरोना वैक्सीन की कमी का हवाला देकर राजनीति हो रही है. विपक्ष व कुछ राज्य सरकारों द्वारा केंद्र सरकार को कटघरे में खड़ा करने का प्रयास किया जा रहा है. लेकिन, वास्तविकता यह है कि राज्य सरकारों की व्यवस्था में गड़बड़ी के कारण वैक्सीन की 45 लाख डोज़ बर्बाद हो चुकी हैं. मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार एक आरटीआई में जानकारी दी गई है.
कुछ राज्य हैं जो बेहतर प्रबंधन से वैक्सीन का उपयोग कर रहे हैं, तो ऐसे राज्य भी हैं, जो लगातार वैक्सीन बर्बादी में आगे चल रहे हैं. मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार आरटीआई में प्राप्त जानकारी बताती है कि 11 अप्रैल तक 44.78 लाख वैक्सीन डोज बर्बाद हो चुके हैं. तमिलनाडु में वैक्सीन बर्बादी अधिक है. यहां 11 अप्रैल तक 12.10% डोज़ बर्बाद हो चुकी है.
इन राज्यों में वैक्सीन की बर्बादी नहीं
इसके विपरीत देश के कुछ राज्य और केंद्र शासित प्रदेश ऐसे भी हैं, जहां वैक्सीन की बर्बादी नहीं है. जानकारी के अनुसार, हिमाचल प्रदेश, गोवा, केरल, पश्चिम बंगाल, मिजोरम, दमन एंड दीव, अंडमान एंड निकोबार और लक्षद्वीप में वैक्सीन बर्बादी नहीं हुई है. 16 जनवरी से देशभर में वैक्सीन कार्यक्रम शुरू हो गया था. देश में फिलहाल 45 साल से ज्यादा उम्र के लोगों को टीका लगाया जा रहा है. तीसरा चरण 01 मई से प्रारंभ होने वाला है, जिसमें 18 वर्ष से अधिक आयु के सभी व्यस्कों को वैक्सीन लगाई जा सकेगी. सरकार ने वैक्सीन की कीमत, उपलब्धता को लेकर भी बड़ा निर्णय लिया है. फिलहाल सरकार चरणबद्ध तरीके से वैक्सीन ड्राइव चला रही है. पहले चरण में स्वास्थ्य सेवाओं से जुड़े कर्मियों को टीका लगाया गया था.
राज्यों में वैक्सीन की बर्बादी
आंध्र प्रदेश: 1,17,733
असम: 1,23, 818
बिहार: 3,37,769
छत्तीसगढ़: 1.45 लाख
दिल्ली: 1.35 लाख
गुजरात: 3.56 लाख
हरियाणा: 2,46,462
जम्मू-कश्मीर: 90,619
झारखंड: 63,235
कर्नाटक: 2,14,842
लद्दाख: 3,957
मध्य प्रदेश: 81,535
महाराष्ट्र: 3,56,725
मणिपुर: 11,184
मेघालय: 7,673
नागालैंड: 3,844
ओडिशा: 1,41,811
पुडुचेरी: 3,115
पंजाब: 1,56,423
राजस्थान: 6,10,551
सिक्किम: 4,314
तमिलनाडु : 5,04,724
तेलंगाना: 1,68,302
त्रिपुरा: 43,292
उत्तर प्रदेश: 4,99,115
उत्तराखंड: 51,956