अलीगढ़. पुलिस ने लड़कियों की तस्करी करने वाले गैंग का खुलासा किया है. यह गैंग नौकरी का झांसा देकर झारखंड से लड़कियों को लाता था और उन्हें अलीगढ़ में बेच देता था. आरोपी इसके बदले में मोटी रकम वसूलते थे.
गत मंगलवार को गैंग के सदस्य तीन लड़कियों को बेचने के लिए लाए थे. इसकी जानकारी पुलिस को मिल गई. पुलिस ने छापेमारी की और मौके से चार लड़कियों को बरामद किया. इसमें से तीन लड़कियां बेचने के लिए लाई गई थीं, जबकि एक गैंग की सदस्य है. गैंग के सभी सदस्य मुस्लिम हैं और वे अपना हिन्दू नाम रखकर हिन्दू लड़कियों को शिकार बनाते थे.
पुलिस ने लड़कियों की तस्करी करने वाले चार आरोपियों को गिरफ्तार किया है, जिसमें से तीन मुस्लिम हैं. यह चारों युवक झारखंड के रहने वाले हैं. इनके साथ पकड़ी गई गैंग की सदस्य लड़की भी झारखंड की रहने वाली है.
आरोपी हिन्दू बनकर महिला साथी की मदद से झारखंड की लड़कियों को नौकरी का झांसा देकर लाते थे. गरीब परिवार की लड़कियों को रुपयों का लालच दिया जाता था. साथ ही उन्हें कुछ रुपये एडवांस देकर अपने साथ लाते थे. फिर उन्हें मोटी रकम में बेच देते थे.
आरोपी सईद के पास से दो आधार कार्ड मिले हैं. एक में उसका असली नाम था. दूसरे में उसका नाम राहुल गुप्ता लिखा है.
सीओ सेकंड एएसपी मनीष शांडिल्य ने बताया कि पांच आरोपियों के खिलाफ नामजद मुकदमा दर्ज किया गया है. इसमें चार आरोपी पुरुष हैं और एक महिला आरोपी शामिल है. सभी से पूछताछ की जा रही है. साजिश में फंसाकर अलीगढ़ आई तीनों लड़कियों को दूसरी जगह रखा गया है.
गिरफ्तार आरोपियों में झारखंड की रहने वाली 30 साल की नफीसा बीबी पत्नी रहीम अंसारी, 35 साल का रहीम अंसारी पुत्र जहमू, 38 साल का कलाम खान पुत्र इदरीश खान, झारखंड निवासी 43 साल का सईद अंसारी पुत्र जमाल अंसारी, 45 साल का लक्ष्मण लोहरा पुत्र उदी लोहरा.
पुलिस ने जब आरोपियों की जांच की, तो उनके पास से फर्जी आधार कार्ड भी बरामद हुए हैं. एक व्यक्ति के पास दो आधार कार्ड थे और दोनों अलग-अलग थे. एक आधार कार्ड उनके असली नाम का था, जिसमें उनका मुस्लिम नाम लिखा हुआ था.
जबकि दूसरा आधार कार्ड फर्जी था, जो आरोपियों ने हिन्दू नाम से बनवा रखा था. आरोपियों ने पुलिस को बताया कि वह जरूरत के अनुसार हिन्दू और मुस्लिम नामों का इस्तेमाल करते थे और लड़कियों को गुमराह करके अपने साथ लाते थे.
आरोपियों ने अलीगढ़ के अतरौली निवासी राजेश की शादी का ठेका लिया था और दो बार उससे रुपये ठगे. इसके बाद उसने पुलिस से शिकायत की. अतरौली के राजेश ने बताया कि उनकी पत्नी की मौत के बाद इदरीश नाम का व्यक्ति उसकी शादी कराने झारखंड ले गया था.
झारखंड ले जाकर उसकी शादी कराने के बजाय जमकर मारपीट की और 80 हजार रुपये भी छीन लिए. इसके बाद आरोपियों ने उसे झूठे मामले में फंसाकर पुलिस से भी पकड़वा दिया. पीड़ित जैसे-तैसे झारखंड से छूटकर अलीगढ़ वापस आया.
राजेश ने बताया कि झारखंड से लौटने के लगभग चार महीने बाद इदरीश ने शादी के लिए एक बार फिर संपर्क किया. इस बार शादी के लिए 2.5 लाख रुपये मांगे. इस बार राजेश ने चतुराई दिखाते हुए उसे अलीगढ़ बुला लिया. इदरीश चार लड़कियों के साथ अलीगढ़ आया.
आरोपी ने राजेश को गांधी पार्क बस स्टैंड बुलाया. इदरीश ने भरोसा दिलाया कि तुम्हारी शादी करवा देंगे और उससे रुपये मांगे. राजेश ने रुपये देने से मना कर दिया, तो उन्होंने मारपीट शुरू कर दी. इसके बाद राजेश वहां से जान बचाकर भागा और पुलिस को जानकारी दी.