नई दिल्ली. राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने शुक्रवार को रामेश्वरम कैफे ब्लास्ट (बेंगलुरु) मामले में पश्चिम बंगाल के पूर्व मेदनीपुर जिले से दो आरोपियों को गिरफ्तार किया है. इनकी पहचान अब्दुल मतीन ताहा और मुसाविर हुसैन शाजिब के रूप में हुई है. एनआईए के अनुसार, शाजिब ने कैफे में IED रखा था, जबकि ताहा ने पूरी योजना बनाई थी.
जांच एजेंसी ने आरोपियों को गिरफ्तार करने के पश्चात न्यायालय में प्रस्तुत किया और तीन दिन का ट्रांजिट रिमांड हासिल किया. एनआई ने 5 अप्रैल को बताया था कि मुसाविर हुसैन शाजिब मुख्य आरोपी और अब्दुल मतीन ताहा सह-आरोपी है. मुसाविर ही कैफे में विस्फोटक लेकर गया था. दोनों ही कर्नाटक के शिवमोगा जिले के तीर्थहल्ली के रहने वाले हैं.
एनआईए ने मुख्य आरोपियों की तलाश में कर्नाटक, तमिलनाडु और उत्तर प्रदेश में विभिन्न स्थानों छापेमारी की थी. एजेंसी ने दोनों पर 10 लाख रुपये का इनाम घोषित था.
इससे पहले जांच एजेंसी ने 23 मार्च को दो संदिग्धों की पहचान की थी. फरार आरोपी ताहा तमिलनाडु पुलिस इंस्पेक्टर के. विल्सन की हत्या के मामले में वॉन्टेड था और चेन्नई में मुख्य संदिग्ध के साथ रहा था. शाजिब और ताहा दोनों ही ISIS मॉड्यूल का हिस्सा हैं. इसकी पुष्टि मॉड्यूल के सदस्यों ने भी की थी, जिन्हें पहले गिरफ्तार किया गया था.
एनआईए ने मुख्य आरोपी की पहचान आसपास के एक हजार से अधिक CCTV कैमरों की जांच करके की थी. ताहा हमेशा टोपी पहनता था, जो उसने चेन्नई में रहने के दौरान खरीदी थी. संदिग्ध हमलावर शाजिब को विस्फोट के दिन वही टोपी पहने देखा गया था. जांच में पाया गया कि टोपी के सिर्फ 400 पीस ही बेचे गए थे. एक अन्य CCTV फुटेज में NIA अधिकारियों ने ताहा को चेन्नई के एक मॉल से टोपी खरीदते हुए देखा था. विस्फोट के बाद संदिग्ध ने कैफे से कुछ दूरी पर टोपी गिरा दी थी.
उन्हें टोपी में बाल मिले, जिसे फोरेंसिक जांच के लिए भेजा गया था. रिपोर्ट में मुख्य संदिग्ध शाजिब के माता-पिता के DNA सैंपल से मिलाया गया. बाद में शाजिब के माता-पिता ने उसका CCTV फुटेज देखा और पुष्टि की कि जो व्यक्ति देखा गया, वह उनका बेटा है. संदिग्ध को आखिरी बार आंध्र प्रदेश के नेल्लोर में देखा गया था.
NIA ने 26 मार्च को चिकमंगलुरु के रहने वाले मुजम्मिल शरीफ को गिरफ्तार किया था. मुजम्मिल ने मुसाविर हुसैन शाजिब और अब्दुल मतीन ताहा को ब्लास्ट से जुड़ा सामान मुहैया कराया था. मुजम्मिल को पकड़ने के लिए NIA ने तीन राज्यों कर्नाटक, तमिलनाडु और उत्तर प्रदेश में छापेमारी की. तलाशी के दौरान कुछ कैश के साथ कई डिजिटल डिवाइस भी जब्त किए गए थे.
घटना के बाद सबसे पहले फायर ब्रिगेड और व्हाइट फील्ड पुलिस ने बताया कि सिलेंडर में विस्फोट हुआ है. जब हम मौके पर पहुंचे तो कैफे की दीवार पर लगा शीशा टूटकर टेबल पर बिखरा पड़ा था. 3 मार्च को गृह मंत्रालय ने इस केस की जांच NIA को सौंपी थी.