कलकत्ता उच्च न्यायालय ने मंगलवार को एक याचिका पर सुनवाई के पश्चात राम नवमी पर शोभा यात्रा निकालने की अनुमति प्रदान की. न्यायालय ने दो हिन्दू संगठनों – अंजनी पुत्र सेना और विश्व हिन्दू परिषद की याचिका पर 17 अप्रैल को हावड़ा जिले में अपनी वार्षिक राम नवमी शोभा यात्रा (जुलूस) निकालने की अनुमति प्रदान की. न्यायाधीश न्यायमूर्ति जय सेनगुप्ता ने संगठनों को उन मार्गों के माध्यम से शोभा यात्रा आगे बढ़ाने की अनुमति दी, जिनका वे पिछले 15 वर्षों से उक्त उद्देश्य के लिए उपयोग कर रहे थे.
पिछले वर्ष हावड़ा मैदान की ओर जाने वाले रास्ते पर हिन्दू और मुसलमानों के बीच हिंसा भड़क गई थी. पश्चिम बंगाल सरकार ने इस साल एक वैकल्पिक रास्ता सुझाया था.
राज्य सरकार की ओऱ से कहा गया कि पिछले साल सांप्रदायिक हिंसा के कारण, राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) की जांच पहले से ही प्रगति पर है और हावड़ा क्षेत्र से 11 से अधिक लोगों को गिरफ्तार किया गया है, जहां शोभायात्रा होनी है. इसलिए वैकल्पिक मार्ग सुझाया गया.
राज्य सरकार द्वारा सुझाए वैकल्पिक मार्ग को संगठनों ने अस्वीकार कर दिया और न्यायालय में याचिका दायर की.
न्यायालय ने शोभायात्रा की अनुमति प्रदान की और तय किया कि शोभा यात्रा में भाग लेने वालों की संख्या 200 व्यक्तियों से अधिक नहीं होगी.
न्यायाधीश ने आदेश दिया, ”किसी भी समुदाय के खिलाफ कोई उत्तेजक नारे नहीं लगाए जाएंगे”.
इसके अलावा, न्यायालय ने राज्य सरकार को कानून व्यवस्था सुनिश्चित करने के लिए केंद्रीय बलों की सहायता लेने का भी सुझाव दिया.